जेएससीए इंटरनेशनल स्टेडियम में शुक्रवार को भारत और दक्षिण अफ्रीका के खिलाड़ियों ने मैच से पहले पूरे फोकस और रणनीति के साथ अभ्यास सत्र पूरा किया। दोनों टीमों ने अपनी तैयारी अलग-अलग स्लॉट में की, ताकि अभ्यास के दौरान पूरी एकाग्रता और समय मिल सके।
दक्षिण अफ्रीका की टीम ने दोपहर 1:30 बजे से करीब तीन घंटे तक नेट सेशन में जमकर पसीना बहाया। बल्लेबाजों ने तेज गेंदबाजों और स्पिनर्स दोनों के खिलाफ बैटिंग अभ्यास किया। खिलाड़ियों का फोकस मुख्य रूप से स्ट्रेट बैटिंग, शॉर्ट बॉल हैंडलिंग और तेज गेंदबाजी के खिलाफ तकनीक सुधारने पर था। गेंदबाजों ने डेथ ओवर यॉर्कर और हार्ड लेंथ पर विशेष ध्यान दिया।
इसके बाद शाम 5:30 बजे से भारतीय टीम मैदान में उतरी। तीन घंटे के इस सेशन में बल्लेबाजी, गेंदबाजी और फील्डिंग तीनों विभागों पर बराबर जोर रहा। ओपनर्स ने नई गेंद के खिलाफ ड्राइव और कट शॉट को लगातार टेस्ट किया। कोचिंग स्टाफ ने खासतौर पर शुरुआती ओवरों में स्ट्राइक रोटेशन और गैप फाइंडिंग पर खिलाड़ियों को निर्देश दिए।
विराट कोहली, रोहित शर्मा और केएल राहुल लंबे समय तक नेट्स पर टिके रहे। इन वरिष्ठ खिलाड़ियों ने स्पिन, स्लोअर वन और बाउंसर के खिलाफ अलग-अलग परिस्थितियों में शॉट चयन को सुधारने पर ध्यान दिया। नेट में विविध गेंदों का सामना कर वे मैच डे की स्थितियों का अहसास लेते दिखे।
गेंदबाजों ने रांची की पिच की प्रकृति के अनुसार अपनी गेंदों को ढालने की तैयारी की। विकेट से मिलने वाली उछाल और टर्न को समझने के लिए तेज और स्पिन दोनों गेंदबाजों ने क्रमिक तरीके से अपनी गेंदों का इस्तेमाल कर योजना बनाई।










